अजित जोगी मूर्ति बरामद भाजपा कांग्रेस और JCC ने संयुक्त रूप से किया कार्यवाही की मांग,समर्थकों ने लगाया नगर पालिका अधिकारी पर इल्जाम:गौरैला पेण्ड्रा मरवाही
Ajit Jogi statue recovered, BJP, Congress and JCC jointly demanded action, supporters blamed municipal officer: Gaurela Pendra Marwahi

गौरेला-पेण्ड्रा-मरवाही/संजय सिंह
जिला मुख्यालय के अंतर्गत आने वाले ज्योतिपुर चौक, वार्ड क्रमांक 10 से एक अत्यंत संवेदनशील और निंदनीय घटना सामने आई है। छत्तीसगढ़ राज्य के प्रथम मुख्यमंत्री स्वर्गीय अजीत जोगी की आदमकद प्रतिमा को अज्ञात लोगों द्वारा दिनांक 25 मई 2025 की रात्रि में चोरी कर लिया गया।
यह प्रतिमा निजी भूमि पर स्थापित थी और जनसामान्य में उसका विशेष भावनात्मक और सामाजिक महत्व था। घटना के सामने आने के बाद क्षेत्र में भारी जनाक्रोश फैल गया, जिसके चलते आज बड़ी संख्या में स्थानीय नागरिकों और जनप्रतिनिधियों ने घटनास्थल पर पहुंचकर धरना प्रदर्शन किया साथ ही आपत्ति दर्ज करते हुए कहां की अजीत जोगी न सिर्फ स्थानी थे बल्कि पूरे देश में गौरेला पेंड्रा मरवाही को पहचान देना वाले नेता थे उनके प्रतिमा के साथ इस तरह का खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा, जिन लोगों ने भी इस कृत्य को किया है उन्हें सख्त सशक्त सजा मिलनी चाहिए नगर पालिका अध्यक्ष मुकेश दुबे ने घटनास्थल पर पहुंचकर घटना पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि हम शासन प्रशासन से मांग करते हैं कि जल्द ही दोषियों के विरुद्ध कानूनी कार्यवाही हो वही धरना स्थल पर अमित जोगी सहित भाजपा कांग्रेस जोगी कांग्रेस एवं स्थानीय जनपद निधियां ने कलेक्टर के नाम ज्ञापन सोपा है और दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई करने की मांग की है,
इस गंभीर और भावनात्मक रूप से संवेदनशील घटना को लेकर पुलिस ने तत्काल कार्रवाई करते हुए 303(1) BNS, 303(2), 305(D) के तहत अपराध पंजीबद्ध किया है।धारा 303(1) BNS – सार्वजनिक श्रद्धा एवं सामाजिक शांति को ठेस पहुंचाने के कृत्य पर।
धारा 303(2) – जानबूझकर और पूर्वनियोजित आपराधिक मंशा से की गई गंभीर क्षति।
धारा 305(D) – समाज में अशांति फैलाने व विधिविरुद्ध षड्यंत्र का प्रयास।
जिला कलेक्टर को शॉपिंग के ज्ञापन में नागरिकों ने
ज्ञापन में आरोप है कि इस चोरी में मुख्य नगरपालिका अधिकारी, दीपक शर्मा एवं प्रदीप जायसवाल की संलिप्तता है। मांग की गई है कि दोषियों पर सख्त कानूनी कार्रवाई कर उन्हें दंडित किया जाए। प्रतिमा की तत्काल पुनर्स्थापना:
चोरी की गई प्रतिमा को 24 घंटे के भीतर उसी स्थान पर ससम्मान पुनः स्थापित करने की मांग की गई है।
चौक का नामकरण:
ज्योतिपुर चौक को ‘स्व. अजीत जोगी चौक’ के नाम से अधिसूचित करने की भी अपील की गई है।
. शांति भंग का प्रयास:
यह घटना नगर व प्रदेश की शांति एवं सामाजिक सौहार्द बिगाड़ने का प्रयास मानी जा रही है, अतः दोषियों पर विधिक कार्यवाही की जाए।
प्रशासन ने मामले को गंभीरता से लेते हुए सीसीटीवी फुटेज और स्थानीय गवाहों से पूछताछ प्रारंभ कर दी है। साथ ही शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए क्षेत्र में अतिरिक्त पुलिस बल तैनात किया गया है।